रिपोर्ट के मुताबिक वर्तमान में प्रति वर्ष 4 बिलियन (400 करोड़) पार्सल की डिलीवरी की जाती है जिसके 2030 तक बढ़कर 40 बिलियन (4,000 करोड़) पार्सल हो जाने का अनुमान है, जिससे इस क्षेत्र से 2030 तक 8 मिलियन (80 लाख) टन कार्बन-डाई-ऑक्साइड का कुल वार्षिक उत्सर्जन (इमिशन) होगा.